Apne Aap Ko Jano part-3
Apne Aap Ko Jano part-3 Apne Aap Ko Jano part-3 भिद्यते हृदयग्रन्थिः छिद्यन्ते सर्वसंशयाः। क्षीयन्ते चास्य कर्माणि तस्मिन्दुष्टे परावरे ॥ मुण्डकोपनिषद् (२.२.८) हृदय ग्रन्थि खुलने पर अविद्याजन्य सभी संशय समाप्त हो जाते हैं और उसी के साथ सभी कर्म-बन्धन भी क्षीण हो जाते हैं। ऐसे ज्ञानी को परम तत्त्व के दर्शन होते हैं। […]
Apne Aap ko jano part-2
Apne Aap ko jano – part-2 Apne Aap ko jano – part-2… ऊर्ध्वगति, रजोगुणी जीवों को मध्यम और तमोगुणी जीवों को अधोगति प्राप्त होती है। तमोगुणी व्यक्ति तो अपनी जड़ता के कारण अपना हितअनहित समझ नहीं सकता, किन्तु रजोगुणी व्यक्ति अपनी दुर्बलता समझ कर उसे दूर कर सकता है। उसे समझना चाहिए कि रजोगुण […]
Apne aap ko jano अपने आप को जानो
Apne aap ko jano Apne aap ko jano– अपने आप को जानो सम्पूर्ण जगत् के कण-कण को जान कर भी यदि अपने आप को नहीं जाना, तो कुछ नहीं जाना और यदि अपने को जान लिया तो सब कुछ जान लिया। ॥ वि ॥ वि वि ध ग्रन्थ मा ला […]